बैगानटोला के 45 महिला-पुरुष एवं बच्चों को पंचायत भवन व अन्य स्थल पर किया गया सुरक्षित
अनूपपुर। छत्तीसगढ़ राज्य के मनेंद्रगढ़ वन क्षेत्र अंतर्गत भौता बीट के कोयलहवा इलाके से 27 सितम्बर की शाम 39 हाथियों का समूह म.प्र. के कोतमा क्षेत्र अंतर्गत टॉकी बीट कक्ष क्रमांक पीएफ 476, 477, 478, केरहा टोला से फुलवारी टोला में तुलसी विश्वकर्मा के बाड़ी से लगा गन्ना, केला की फसल को नुकसान पहुंचाते हुए दीवार तोड़ी, जिसके बाद हाथियों का दल 4 भाग में बट कर टांकी गांव के फुलवारीटोला, बिछलीटोला, छपरा टोला, नवाटोला में विचरण कर ग्रामीणों की खेतों में लगी धान एवं अन्य फसलों का नुकसान पहुंचाते हुए सुबह टांकी, मलगा बीट के महानीम कुंडी के जंगल में जाकर रूके हुए है। विगत 2 दिनों से अब तक के सबसे बड़े समूह के आने की संभावना को देखते हुए प्रशासन ने टांकी के जंगल के बीच बसे बैगानटोला के 45 महिला पुरुष एवं बच्चों को पंचायत भवन व अन्य स्थल पर सुरक्षित रखा गया, हाथियों के आने की सूचना पर डीएफओं अनूपपुर डॉ. अब्दुल अलीम अंसारी ने एसडीओ अनूपपुर केवी सिंह के नेतृत्व में टीम गठित कर वन परीक्षेत्र कोतमा अधिकारी परिवेश सिंह भदौरिया के साथ कोतमा बिजुरी एवं जैतहरी के अधिकारियों कर्मचारियों के साथ ग्राम पंचायत टांकी के सहयोग से ग्रामीणों को सतर्क करने हेतु मुनादी कराई गई। इस दौरान दूसरे दिन कोतमा एसडीम ऋषि सिंघई तथा कोतमा तहसीलदार मनीष शुक्ला ने ग्राम टांकी के बैगान टोला, सैतुनचुआ का निरीक्षण किया तथा एक दिन पूर्व रात्रि में हाथियों के समूह द्वारा किए गए फसल नुकसान एवं मकानों की तोडफ़ोड़ को देखा। हाथियों का समूह जो मलगा टांकी के जंगल में दिन में रूका हुआ है, जिसके शाम रात्रि होने पर पूर्व ग्राम के मजरे टोले में विचरण की संभावना को देखते हुए बैगन टोला के ग्रामीणों को पूरा पंचायत भवन एवं अन्य स्थान पर सुरक्षित किए जाने एवं उनके खाने-पीने की व्यवस्था कराए जाने के निर्देश दिए।
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