मोह में कर रहे अपने पदीय दायित्वों का दुरूपयोग, मिशन संचालक का आदेश का खुला उल्लंघन
अनूपपुर। डीपीएम अनूपपुर सुनील नेमा को उनके मूल पदस्थपना स्थल पर तत्काल कार्यमुक्त करने के मामले को में सीएमएचओं डॉ. एस.सी. राय की भूमिका संदिग्ध नजर आ रही है। जो अपने उत्तरदायित्वों का निर्वहन करने की बजाय अपने ही पद का दुरूपयोग करने में लगे हुए है। जिसका सीधा उदाहरण सीएमएचओं डॉ. एस.सी. राय ने मिशन संचालक को लिखे पत्र में डीपीएम का प्रभार देने के लिए शिवेन्द्र द्विवेदी को किसी भी कार्यक्रम की जानकारी न होने के संबंध में जारी किया और अन्य किसी व्यक्ति को नामांकित करने की बात लेख की। जब बात नही बनी तो 3 जनवरी को डीपीएम सुनील नेमा को डीपीएम का कार्यभार 2 दिवस के अंदर शिवेन्द्र द्विवेदी को देने का आदेश जारी कर दिया गया। जहां आदेश को एक सप्ताह बीत चुके है। लेकिन सीएमएचओं साहब का 2 दिन अब भी शेष है। अब डीपीएम सुनील नेमा द्वारा हाईकोर्ट से स्टे लाने तक का इंतजार कर रहे है। सीएमएचओं डॉ. एस.सी. राय ने हाईकोर्ट के स्टे आने से पहले ही डीपीएम को कार्यमुक्त नही करने के लिए स्टे आर्डर का इंजतार कर रहे है। लगातार खबरों के प्रकाशन से बौखलायें सीएमएचओं डॉ. एस.सी. राय उल्टा पत्रकार को नोटिस जारी करेंगे।
डीपीएम का साथ देने सीएमएचओं विवादों के घेरे में
मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. एस.सी.राय डीपीएम सुनील नेमा को बचाने स्वयं विवादों में घिर चुके है। जहां राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के संचालक डॉ. पंकज शुक्ला द्वारा जारी किए गए पत्र क्रमांक/एनएचएम/एच.आर./एचआरएम/2021/2071 भोपाल, दिनांक 7 दिसम्बर 2021 के आदेश को दर किनार करते हुए अपने पदीय दायित्वों का गलत उपयोग कर डीपीएम सुनील नेमा को उनके मूल पदस्थापना कुंडम के लिए कार्यमुक्त न करना रहा है। जिसका मुद्दा शांत होते सप्ताह नही बीता की हैल्थ एंड वैलनेस सेंटर्स कार्यक्रम अंतर्गत पदस्थ कम्युनिटी हेल्थ ऑफिसर को प्रदाय किए जाने वाले लैपटॉप, डिजिटल टैब व प्रिंटर्स की खरीदी घोटाला का मामला जिले में सुर्खियां बंटोर रहा है।
डीपीएम के स्टे आर्डर लाने का सीएमएचओं को इंतजार
पूरे मामले में जहां मिशन संचालक के आदेशों की धज्जियां उड़ाते हुए सीएमएचओं डॉ. एस.सी. राय ने डीपीएम सुनील नेमा को उकने मूल पदस्थापना में कार्यमुक्त करने हर दिन नई योजनाओं को सीएमएचओं कार्यालय में बैठकर बना रहे है। जहां अपनी हर योजना व प्रयास की विफलता के बाद अब उन्होने नया तरीका का खोज कर लिया है। इस नई योजना के अनुसार डीपीएम सुनील नेमा ने हाईकोर्ट से स्टे आर्डर आने के इंतजार में है, तो सीएमएचओं साहब का भी ये इंतजार अपने ही विभाग में चर्चा का विषय बना दिया है। आखिर यह मोह किस ओर इशारा करता है ये तो जान पाना लोगो के लिए मुश्किल है।
पूर्व में भी लग चुके है भ्रष्टाचार के आरोप
सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र कुंडम में बीपीएम के पद पर पदस्थ रहे सुनील नेमा पर भ्रष्टाचार के आरोप लग चुके है। जिसमें कार्यालय कमिश्रर जबलपुर के पत्र क्रमांक/2070/विकासशाखा-5/2017, जबलपुर दिनांक 15.11.2017 पर वित्तीय अनियमित्ताओं में लिप्त बीपीएम कुंडम सोहनलाल पिपलिया, लेखापाल रंजीत सहित बीपीएम सुनील नेमा के विरूद्ध कार्यवाही किया जाना प्रस्तवित किया गया था। लेकिन अनूपपुर जिले में डीपीएम के प्रति सीएमएचओं का एैसा मोह जो कि सुनील नेमा को कार्यमुक्त न करने के लिए प्रभार मिलने वालो पर आरोप लगाकर पत्र मिशन संचालक को प्रेषित किया गया, जो समझ से परे है।
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